एक बार फिर दहल उठा पूरा देश, महिला डॉक्टर के साथ 7 घंटे दरिंदगी के बाद जिंदा जला डाला..

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हैदराबाद। क्या ये देश लड़कियों और औरतों के लिए इतना खतरनाक हो चुका है कि अब जहां औरतें दिख जाएं उन्हें हवस का शिकार बना दिया जाएगा। रोजाना रेप की इतनी घटनाएं सामने आ रही हैं कि एब ऐसा लगता है मानों इंसान के वेश में राक्षस महिलाओं को नोचने के लिए धाक लगाए बैठे हैं। दरिंदे 6 साल की बच्ची से लेकर 70 साल की बुजुर्ग महिला तक को नहीं बख्श रहे हैं।

विद्या के मंदिर से लेकर भगवान के घर तक, पुलिस स्टेशन से लेकर चर्च-मदरसों तक और खेत-खलिहानों से लेकर शहर की चौड़ी सड़कों तक आज बच्ची से लेकर बुजुर्ग तक कोई भी महिला अब सुरक्षित नहीं रह गई हैं। सब जानते हैं कि बलात्कार एक सामाजिक अपराध ही नहीं, बल्कि एक मानसिक विकृति भी है, जो अंदर छुपे वहशीपन को बाहर निकालती है। कानून-व्यवस्था के पिंजरे में कई आपराधी फंस जाते हैं, तो कई छूट भी जाते हैं, लेकिन दोनों ही स्थितियों में महिला को उम्र भर का दर्द सहना पड़ता है।

अब हैदराबाद में ऐसा मामला सामने आया है, जिसने पूरे देश को हिलाकर रख दिया है। यहां 26 वर्षीय वेटनरी डॉक्टर की दुष्कर्म के बाद हत्या कर दी गई।वेटनरी डॉक्टर शादनगर में रहती थी और यहां से करीब 30 किलोमीटर दूर शम्शाबाद में एक वेटनरी हॉस्पिटल में काम करती थी। वह हर दिन हैदराबाद-बेंगलुरु नेशनल हाईवे स्थित तोंडुपल्ली टोल प्लाजा पर अपना टू-व्हीलर पार्क करती थी और वहां से कैब लेकर अस्पताल तक जाती थी।

बुधवार को भी डॉक्टर वेटनरी हॉस्पिटल से टोल प्लाजा पर लौटी और वहां से एक और क्लिनिक पर जाने के लिए रवाना हो गई। रात 9 बजकर 22 मिनट पर डॉक्टर ने अपनी बहन को फोन पर बताया कि उसके टू-व्हीलर का एक टायर पंक्चर है। एक व्यक्ति ने उसे मदद की पेशकश की है। कुछ देर बाद उसने दोबारा फोन कर बताया कि मदद की पेशकश करने वाला व्यक्ति कह रहा है कि आसपास की सभी दुकानें बंद हैं और पंक्चर ठीक करवाने के लिए गाड़ी को कहीं और ले जाना होगा।

परिवार के लोगों ने पुलिस को दिए बयान में कहा कि जब डॉक्टर ने अपनी बहन को फोन किया, तब वह डरी हुई थी। बहन ने उसे सुझाव दिया कि वह टू-व्हीलर वहीं छोड़े और कैब बुक कर घर लौटे। लेकिन डॉक्टर ने कहा कि हाईवे पर स्थित टोल प्लाजा के किनारे इंतजार करने में उसे अजीब महसूस हो रहा है। डॉक्टर ने बाद में अपनी बहन से यह भी कहा कि आसपास अजनबी लोग हैं, वे उसे घूर रहे हैं और उसे डर लग रहा है। पास में ही एक लॉरी खड़ी है, जहां कुछ लोग मौजूद हैं। डॉक्टर ने अपनी बहन से कहा कि वह उससे फोन पर बात करती रहे। बाद में रात 9 बजकर 44 मिनट पर डॉक्टर का फोन स्विच ऑफ हो गया। परिवार ने पुलिस ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करा दी।

पुलिस के मुताबिक, रात के वक्त में नो एंट्री होने की वजह से तोंडुपल्ली टोल प्लाजा के पास ट्रक और लॉरियां खड़ी हो जाती हैं। बुधवार रात चार ट्रक ड्राइवर और क्लीनर टोल प्लाजा के पास शराब पी रहे थे। इसी दौरान उनकी टू-व्हीलर पंक्चर होने के कारण अकेली खड़ी डॉक्टर पर नजर पड़ी। वे पंक्चर ठीक करवाने के बहाने से उसे अपने साथ ले गए। वे बुधवार रात 9.30 बजे से गुरुवार तड़के 4 बजे तक डॉक्टर से दुष्कर्म करते रहे। इसके बाद डॉक्टर की हत्या कर दी। वे लाश को करीब 30 किमी एक पुल के नीचे ले गए। फिर शव को चादर में लपेटा और केरोसिन छिड़ककर आग लगा दी। इसके बाद दो आरोपी बाइक पर और बाकी लॉरी से लाैट आए। इस मामले में नारायणपेट का रहने वाला मोहम्मद पाशा मुख्य आरोपी है।

वेटनरी डॉक्टर हैदराबाद-बेंगलुरु हाईवे पर स्थित जिस टोल प्लाजा पर आखिरी बार देखी गई थी, वहां से करीब 30 किमी दूर एक किसान ने गुरुवार सुबह उसका जला हुआ शव देखा। उसने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने गुमशुदगी की रिपोर्ट के आधार पर डॉक्टर के परिवार के लोगों को घटनास्थल पर बुलाया। अधजले स्कार्फ और गोल्ड पेंडेंट से डॉक्टर के शव की पहचान हुई। साइबराबाद पुलिस ने इस मामले में शुक्रवार को चार आरोपियों को गिरफ्तार किया। ये ट्रक ड्राइवर और क्लीनर हैं। इन्होंने शराब पीने के बाद डॉक्टर को सात घंटे तक बंधक बनाए रखा और सामूहिक दुष्कर्म किया। इसके बाद शव आग लगा दी।

अब सवाल यह भी खड़ा होता है क्या ऐसे अपराध को रोकने में भारत की कानून-व्यवस्था असमर्थ हो चुकी है? हजारों वर्ष पुरानी भारतीय सभ्यता क्या आज बीच चौराहे पर खड़ी है? क्या हमारे पूर्वजों के दिए गए संस्कारों से ‘मूल्यबोध’ गायब हो चुका है? हमें इस बात पर विचार करना होगा कि महिलाएं कब तक पुरुषों के वेश में जानवरों की यौन इच्छाओं का शिकार बनती रहेंगी और अपनी जान गंवाती रहेंगी। सब जानते हैं कि बलात्कार एक सामाजिक अपराध ही नहीं, बल्कि एक मानसिक विकृति भी है, जो अंदर छुपे वहशीपन को बाहर निकालती है। कानून-व्यवस्था के पिंजरे में कई आपराधी फंस जाते हैं, तो कई छूट भी जाते हैं, लेकिन दोनों ही स्थितियों में महिला को उम्र भर का दर्द सहना पड़ता है।